ब्रज की नदियाँ
ब्रज मंडल में यमुना के अतिरिक्त कोई दूसरी स्वतंत्र नदी नहीं है। यहां पर यमुना की कुछ सहायक नदियाँ अवश्य वहती हैं, जिनमें पटबाह, सेंगर, करबन, सिरसा बांन गंगा और गंभीर के नाम उल्लेखनीय हैं।
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पटवाह
पटवाह
- यह एक छोटी वरसाती नदी है, जो मेरठ जिला से निकल कर अलीगढ़ जिला की खैर एवं मथुरा जिला की भाँट तहसीलों मे बहती है। इसके तट का एक मात्र उल्लेखनीय ग्राम बाजना है, जहाँ से आगे यह नौहझील के निकट यमुना में मिल जाती है। इससे भाँट तहसील की भूमि को सिंचित किया जाता है।
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करबन -
करबन -
इसे कारों भी कहते हैं। यह भी एक प्रकार से एक बरसाती नदी है, जो गर्मी में प्राय सूख जाती है, किन्तु वर्षा ॠतु में इसका आकार बहुत बड़ जाता है। यह बुलंदशहर की खुरजा तहसील से आकर हाथरस जिला सहित उसकी खैर और इगलास तहसीलों में बहती है फिर हाथरस जिला की ही सादाबाद तहसील से होकर आगरा जिला की एत्मादपुर तहसीलों में प्रवाहित होती है। उसके बाद यह नदी आगरा नगर से कुछ आगे यमुना में मिल जाती है इससे ब्रज की कई तहसीलों की कृषि भूमि सिंचित होती है। इसके तटवर्ती ग्रामों और कस्बों में चंदौस खैर और इगलास उल्लेखनीय है।
सेंगर और सिरसा - ये भी यमुना की ही छोटी सहायक नदियां हैं, जो अलीगढ़, जलेसर, फिरोजाबाद और शिकोहाबाद नगर और कस्बों में बहती हैं। इनके तटके समीप बरहद, जलेसर और शिकोहाबाद नामक स्थान बसे हैं।
सेंगर और सिरसा - ये भी यमुना की ही छोटी सहायक नदियां हैं, जो अलीगढ़, जलेसर, फिरोजाबाद और शिकोहाबाद नगर और कस्बों में बहती हैं। इनके तटके समीप बरहद, जलेसर और शिकोहाबाद नामक स्थान बसे हैं।
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बांन गंगा और गंभीर - ये छोटी नदियाँ राजस्थान के भरतपुर क्षेत्र में तथा आगरा जिला की खैरागढ और फतेहबाद तहसीलों में बहती हैं। इन्हें उटंगन भी कहा जाता है। बांन गंगा भरत पुर क्षेत्र की कई नहरों तथा बाँधो को पानी देकर अपना अस्तित्व समाप्त कर देती है और गंभी नदी बटेश्वर के उत्तर-पश्चिम में यमुना में मिल जाती है। इसकी सहायक नदी खादी है।
बांन गंगा और गंभीर - ये छोटी नदियाँ राजस्थान के भरतपुर क्षेत्र में तथा आगरा जिला की खैरागढ और फतेहबाद तहसीलों में बहती हैं। इन्हें उटंगन भी कहा जाता है। बांन गंगा भरत पुर क्षेत्र की कई नहरों तथा बाँधो को पानी देकर अपना अस्तित्व समाप्त कर देती है और गंभी नदी बटेश्वर के उत्तर-पश्चिम में यमुना में मिल जाती है। इसकी सहायक नदी खादी है।